पुणे : ऐसी जानकारी सामने आ रही है कि पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की सरकार में सलाहकार रहे जेसन मिलर को भारत सरकार ने पहलगाम हमले के बाद लॉबिंग के लिए नियुक्त किया था। इस नियुक्ति के अनुसार जेसन मिलर को हर महीने 150,000 अमेरिकी डॉलर का वेतन दिया जाएगा। वंचित बहुजन अघाड़ी के प्रमुख एडवोकेट. प्रकाश अंबेडकर ने आज केंद्र सरकार से जेसन मिलर के संबंध में तत्काल स्पष्टीकरण की मांग की।
इस संबंध में एडवोकेट अम्बेडकर ने पूछा है कि भारत जैसे संप्रभु राष्ट्र को ऐसे विदेशी की पैरवी करने की आवश्यकता क्यों महसूस होती है, जबकि उसके पास अपना विदेश मंत्रालय है? भारत सरकार को पारदर्शिता दिखानी चाहिए और इस पर स्पष्टीकरण देना चाहिए। साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को स्पष्ट रूप से बताना चाहिए कि क्या जेसन मिलर की नियुक्ति केंद्र सरकार ने की है? और यदि हां, तो ऐसा किस कारण से किया गया? अंबेडकर ने कहा कि यह जानकारी देश की जनता को दी जानी चाहिए।
“क्या भारत सरकार जेसन मिलर की अनुमति के बिना कोई कार्रवाई नहीं करेगी?” ऐसा गंभीर प्रश्न उठाते हुए एडवोकेट अम्बेडकर ने इस मामले पर भारत सरकार से तत्काल एवं विश्वसनीय प्रतिक्रिया की मांग की है। जेसन मिलर अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के मुख्य सलाहकार के रूप में कार्य कर चुके हैं।
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