नई दिल्ली : राजधानी दिल्ली में दीपावली के बाद से प्रदूषण खराब स्तर पर बना हुआ है। ये जहरीली हवाएं दिल्ली वालों का दम घोंट रही हैं। बीते चार दिनों से प्रदूषण के स्तर में बड़े उतार-चढ़ाव का सिलसिला शनिवार को भी जारी रहा। प्रदूषण में इतने व्यापक बदलावों की वजह से ही डेटा विवाद के घेरे में आ रहे हैं।
हर रोज इतने अंकों का आ रहा उतार चढ़ाव
एयर क्वॉलिटी इंडेक्स (AQI) में रोज करीब 85 अंकों से अधिक का उतार-चढ़ाव आ रहा है। एक्सपर्ट के अनुसार, इस तरह का उतार-चढ़ाव स्वास्थ्य के लिए काफी खतरनाक साबित हो सकता है। इससे लोगों में लापरवाहियों के मामले में बढ़ते हैं। वह प्रदूषण को लेकर गंभीर नहीं रहते।
इस सीजन में सबसे ज्यादा एक्यूआई
29 अक्टूबर को एक्यूआई कम होकर 279 के स्तर पर रहा। 30 अक्टूबर को एक्यूआई बढ़कर 373 हो गया। यह इस सीजन का सबसे अधिक एक्यूआई है। एक्यूआई में अंतर 94 रहा। इसके अगले ही दिन 31 अक्टूबर को यह कम होकर 218 पर सिमट गया। यह अंतर भी 155 अंकों का रहा। अब शनिवार को एक्यूआई 303 रहा। यानी अंतर 85 पॉइंट्स का रहा।
इतना अंतर बढ़ा रहा जोखिम
सीएसई की डीजी सुनीता नारायण के अनुसार, प्रदूषण के स्तर में इतना अधिक अंतर रोज आना और भी जोखिम बढ़ा रहा है। इस उतार-चढ़ाव से लोग लापरवाह रहते हैं। वहीं कई इलाकों में दीपावली के बाद से ही एयर क्वॉलिटी मॉनिटरिंग स्टेशन की स्क्रीन बंद पड़ी हैं। जिससे लोगों को इलाके का प्रदूषण स्तर पर नहीं पता चल पा रहा है।
हर रोज इतने अंकों का आ रहा उतार चढ़ाव
एयर क्वॉलिटी इंडेक्स (AQI) में रोज करीब 85 अंकों से अधिक का उतार-चढ़ाव आ रहा है। एक्सपर्ट के अनुसार, इस तरह का उतार-चढ़ाव स्वास्थ्य के लिए काफी खतरनाक साबित हो सकता है। इससे लोगों में लापरवाहियों के मामले में बढ़ते हैं। वह प्रदूषण को लेकर गंभीर नहीं रहते।
इस सीजन में सबसे ज्यादा एक्यूआई
29 अक्टूबर को एक्यूआई कम होकर 279 के स्तर पर रहा। 30 अक्टूबर को एक्यूआई बढ़कर 373 हो गया। यह इस सीजन का सबसे अधिक एक्यूआई है। एक्यूआई में अंतर 94 रहा। इसके अगले ही दिन 31 अक्टूबर को यह कम होकर 218 पर सिमट गया। यह अंतर भी 155 अंकों का रहा। अब शनिवार को एक्यूआई 303 रहा। यानी अंतर 85 पॉइंट्स का रहा।
इतना अंतर बढ़ा रहा जोखिम
सीएसई की डीजी सुनीता नारायण के अनुसार, प्रदूषण के स्तर में इतना अधिक अंतर रोज आना और भी जोखिम बढ़ा रहा है। इस उतार-चढ़ाव से लोग लापरवाह रहते हैं। वहीं कई इलाकों में दीपावली के बाद से ही एयर क्वॉलिटी मॉनिटरिंग स्टेशन की स्क्रीन बंद पड़ी हैं। जिससे लोगों को इलाके का प्रदूषण स्तर पर नहीं पता चल पा रहा है।
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